झरिया के बस्ताकोला में रहने वाले 10वीं कक्षा के छात्र ने सोमवार की रात अपने घर में फांसी लगाकर जान दे दी। वह स्कूल में मोबाइल लेकर आया था। वहां उस पर फिल्म देख रहा था। शिक्षक ने उसका मोबाइल छीनकर प्रिंसिपल को दे दिया था। छुट्टी के बाद उसके पिता को बुलाकर मोबाइल वापस भी दे दिया गया था।

पिता ड्यूटी से लौटे तो देखा बेटे ने दे दी जान

माना जा रहा है कि इसी कारण उसने गुस्से में जान दे दी। छात्र के स्वजन फिलहाल कुछ भी कहने से इन्कार कर रहे हैं। छात्र की बुआ ने बताया कि पिता निजी कंपनी में गार्ड हैं। छात्र की मां बड़े बेटे को लेकर सिंदरी अपने मायके गई थी। वह घर मे अकेला था।

पिता रात में ड्यूटी कर घर लौटा, तो देखा कि दरवाजा अंदर से बंद है। आवाज देने पर दरवाजा नहीं खुला, तो उसमें बने एक छिद्र से अंदर देखा। तब उनके होश उड़ गए, जब बेटे को साड़ी से लटके देखा। दरवाज तोड़कर अंदर गए और आसपास के लोगों की मदद से उसे उतारा। पर उसकी जान जा चुकी थी।

अब क्‍लास टीचर को मिलने लगी धमकी

पुलिस को बच्चे का मोबाइल मिला है, जो लाॅक था। पुलिस ने सुसाइड नोट भी तलाशा, जो नहीं मिला। मोबाइल का लाॅक खुलने पर स्थिति और स्पष्ट होगी। स्थानीय लोगों ने बताया कि छात्र एनसीसी का भी कैडेट था।

इधर छात्र की मौत के बाद उसके क्‍लास टीचर शिक्षक किशन कुमार को मोबाइल पर किसी ने बुरे परिणाम भुगतने व जान से मारने की धमकी दी है। इस घटना से स्कूल के शिक्षक दहशत में हैं।

उनका कहना है कि अनुशासन को ध्यान में रख छात्र का मोबाइल ले लिया था, बाद में वापस कर दिया था। झरिया पुलिस को उन्होंने धमकी दिए जाने की जानकारी दी है।

स्कूल में मोबाइल लाना वर्जित है। शिक्षक ने मोबाइल छीना था, जो उसके पिताजी को लौटाया गया। हम छात्र के अच्छे भविष्य के लिए हर प्रयास करते हैं। शिक्षक को धमकाना गलत है, ऐसी हालत में कैसे बच्चों को शिक्षा दे पाएंगे। पुलिस ऐसे तत्वों पर कार्रवाई करे-  राहत हुसैन, प्राधानाध्यापक, राज पलस टू उच्च विद्यालय।