29 दिसंबर को झारखंड सरकार का स्थापना दिवस है। इसी दिन राज्य सरकार का गठन हुआ। पूरे राज्य में स्थापना दिवस धूमधाम से मानने को लेकर तैयारी शुरू हो गई है, लेकिन सबसे बड़ा झटका डॉक्टर और कर्मचारियों को लगा है।

राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत काम कर रहे डॉक्टर और कर्मचारियों की छुट्टी 22 दिसंबर से लेकर 30 दिसंबर तक रद्द कर दी गई है। कोई भी डॉक्टर और कर्मचारी 22 से 30 दिसंबर के बीच अवकाश पर नहीं रह सकते हैं।

इस संबंध में अभियान निदेशक आलोक त्रिवेदी ने धनबाद सिविल सर्जन समेत सभी को निर्देश जारी किया है। निर्देश के आलोक में सिविल सर्जन ने इसकी सूचना सभी प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी को दी है।

विशेष परिस्थिति में डॉक्टर और कर्मचारियों को राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अभियान निदेशक से अनुमति लेनी होगी। इसके बाद ही डॉक्टर और कर्मचारी छुट्टी पर जा सकते हैं। 29 दिसंबर को रांची के मोरहाबादी मैदान में भव्य कार्यक्रम का आयोजन होगा।

डॉक्टर-कर्मचारियों की घूमने फिरने की प्लानिंग पर लगा झटका
अमूमन प्रत्येक वर्ष दिसंबर और जनवरी के आने को लेकर अधिकांश डॉक्टर और कर्मचारी घूमने फिरने के लिए अवकाश पर चले जाते हैं, लेकिन इस बार डॉक्टर और कर्मचारी की प्लानिंग पर ब्रेक लग गया है। अवकाश पर जाने वाले डॉक्टर और कर्मचारी को सूचना मिलने के बाद मायूस हो गए हैं। हालांकि अभी तक सरकारी कर्मचारियों को लेकर कोई निर्देश नहीं आया है।

पहले विधानसभा के सत्र के कारण कटी छुट्टी
ज्ञात हो कि इससे पहले 15 दिसंबर से लेकर 21 दिसंबर तक विधानसभा का शीतकालीन सत्र चला। इस दौरान सरकार ने सभी सरकारी कर्मचारी और पदाधिकारी की छुट्टी रद्द कर दी थी। इस समय भी योजना बना रहे पदाधिकारी और कर्मचारी को मायूस होना पड़ा। अब स्थापना दिवस पर घोषणा के बाद राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन से जुड़े डॉक्टर और कर्मचारी की छुट्टी बंद हो गई है।